दिवाली रोशनी उत्सव और खुशियों का त्यौहार है. जिसको लोग काफी उत्साह के साथ मनाते हैं. इस दिन माता लक्ष्मी और गणेश भगवान की पूजा की जाती है. तो वहीं लोग खूब आतिशबाजी भी करते हैं. इस दिन तरह-तरह की मिठाइयां और पकवान घर में बन जाते हैं और एक दूसरे में बांटकर खाया जाता है. लोग एक दूसरे के घर पर मिठाईयां लेकर जाते हैं लेकिन बहुत से लोगों को इस बात की जानकारी नहीं होगी कि इस दिन सूरन या जिमीकंद की सब्जी बनाने की भी परंपरा है.
दीवाली के दिन जरूर बनाएं ये सब्जी, खुश होंगी मां लक्ष्मी
वैसे तो दिवाली के दिन लोग मिठाइयां और पकवान खाते हैं, लेकिन पुरानी मान्यताओं के अनुसार दिवाली के दिन अगर आप सुरन या जिमीकंद की सब्जी बनाकर खाते हैं तो इससे माता लक्ष्मी का आशीर्वाद आपके घर और आपके ऊपर बनी रहती है और आपको कभी भी आर्थिक परेशानी नहीं आती है, तो चलिए आज जान लेते हैं दिवाली के दिन सूरन की सब्जी बनाने के फायदे और परंपरा क्या है.
पढ़ें क्यों बनायी जाती है दीवाली पर सूरन की सब्जी
आपको बताएंगे सूरन की सब्जी एक जड़ से उगती है, यानी कि यह एक पौधे का जड़ होता है जिसको अगर आप एक बार काट देते हैं तो फिर से दोबारा यह उग जाती है,इसलिए इसे सुख समृद्धि से जोड़ कर देखा जाता है. दिवाली के दिन इसकी सब्जी बनाकर माता लक्ष्मी को भोग भी लगाया जाता है.पुरानी मान्यता है कि जिस तरह से जिमीकंद बहुत दिनों तक रखने पर भी खराब नहीं होता,उसी तरह से इस सब्जी को दिवाली के दिन बनाकर खाने से घर में तरक्की और समृद्धि आती रहती है.
सेहत के हिसाब से भी पोषत तत्वों से भरपूर है ये सब्जी
सूरन को बिहार झारखंड में ओल के नाम से जाना जाता है, जो अरुई की प्रजाति की सब्जी है.सूरन को जिस तरह से परंपरा में महत्वपूर्ण स्थान दिया गया है. वहीं यह सेहत के लिए काफी फायदेमंद माना जाता है. इसमे कई तरह के पोषक तत्व पाए जाते हैं, जो आपके आपके स्वास्थ्य के लिए फ़ायदेमंद है. इसकी सब्जी खाने से आँखों की रौशनी तेज़ होती है. वही शरीर में खून की कमी भी नहीं होती और शरीर में उच्च कोलेस्ट्रॉल के स्तर को भी नियंत्रित किया जाता है. इसमे फाइबर की मात्रा अधिक होने की वजह से पाचन शक्ति भी अच्छी रहती है.जिससे कब्ज की समस्या नहीं होती है.वहीं वजन घटाने में भी काफी कारगर साबित होता है.
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